Description
आयुर्वेद में शतावरी को सतमूल, सतावरी और सतमूली आदि नामों से जाना है। अंग्रेजी में इसे एस्पेरेगस के नाम से जाना जाता है। विभिन्न औषधीय गुणों से भरपूर शतावरी भारत में हिमालय के तराई क्षेत्रों में पाया जाता है। इसके साथ ही यह श्रीलंका के कुछ क्षेत्रों में भी पाया जाता है। इसे आयुर्वेद में “औषधियों की रानी” भी कहा जाता है, इसका वानस्पतिक नाम ऐस्पैरागस रेसिमोसस कहा जाता है। शतावरी पाउडर का इस्तेमाल विभिन्न प्रकार के महिला संबंधी रोगों के निदान के लिए बेहद प्रभावी माना जाता है।
शतावरी पाउडर से होने वाले फायदे (Benefits)
- महिलाओं के लिए शतावरी पाउडर के लाभ : शतावरी पाउडर खासतौर से प्रेग्नेंट महिलाओं के लिए बेहद लाभकारी है। प्रेग्नेंसी के दौरान इसका सेवन करना गर्भ में पल रहे शिशु की स्वास्थ्य के लिए अच्छा माना जाता है। इसके साथ ही इसका सेवन करने से बांझपन की समस्या का भी निदान होता है। यह पाउडर महिलाओं के शरीर में एस्ट्रोजन को बढ़ाने में मददगार है। इसके सेवन से पीरियड्स के दौरान होने वाले असहनीय दर्द से भी बचा जा सकता है।
- डायबिटीज कंट्रोल करने के लिए शतावरी पाउडर : शोधकर्ताओं की माने तो शतावरी पाउडर में एंटीडायबिटिक गुण पाया जाता है। यह खून में ग्लूकोज की मात्रा को कम कर हाई ब्लड शुगर लेवल को कम करने में कारगर साबित हो सकता है। इसके सेवन से कुछ ही दिनों में डायबिटीज पर काबू पाया जा सकता है।
- यौनशक्ति बढ़ाने के लिए शतावरी पाउडर : शारीरिक थकान को दूर करने और यौनशक्ति बढ़ाने के लिए भी इस पाउडर का इस्तेमाल किया जा सकता है। शतावरी को यौनशक्ति बढ़ाने के लिए आयुर्वेद में काफी कारगर माना गया है। बहरहाल इस पाउडर का इस्तेमाल महिला और पुरुष दोनों के लिए फायदेमंद है।
- नींद ना आने की समस्या के लिए शतावरी पाउडर : आजकल काम के प्रेशर और विभिन्न कारणों से होने वाले मानसिक तनाव की वजह से नींद ना आने की समस्या बहुत से लोगों को हो सकती है। इससे निजात पाने के लिए शतावरी पाउडर सेवन करना फायदेमंद माना जाता है। रात को सोते वक़्त इस पाउडर का इस्तेमाल करना बेहद लाभकारी है।
शतावरी पाउडर की ख़ुराक (Dosage)
- इसकी ख़ुराक व्यक्ति की स्वास्थ्य समस्या, आयु और जेंडर पर निर्भर करता है। हालांकि रोजाना 2 से 3 ग्राम शतावरी पाउडर का सेवन करना सुरक्षित माना जाता है।
शतावरी पाउडर से सावधानी (Precautions)
गर्भावस्था
गर्भवती महिलाओं के लिए शतावरी पाउडर का सेवन सुरक्षित माना गया है।
स्तनपान
स्तनपान करवाने वाली महिलाओं को इसका सेवन सुरक्षित माना गया है।
हार्ट
हार्ट के मरीजों को शतावरी पाउडर का सेवन डॉक्टरी सलाह के बाद ही करनी चाहिए।
लिवर
लिवर की बीमारी से ग्रसित लोगों के लिए इसके सेवन से पहले डॉक्टरी परामर्श लेना जरूरी है।
किडनी
किडनी से जुड़ी समस्या होने पर शतावरी पाउडर का सेवन डॉक्टरी सलाह के बाद ही करें।
शतावरी पाउडर के नुकसान (Side Effects)
- वैसे तो आमतौर पर इसका कोई नुकसान नहीं देखा गया है लेकिन यदि इसका ओवरडोज हो जाए तो इससे शरीर में पोटासियम की मात्रा बढ़ सकती है जिससे हिपेरक्लीमिया होने का ख़तरा बन सकता है।
- एक नियत मात्रा से ज्यादा शतावरी पाउडर का इस्तेमाल करने से सीने में जलन और यहाँ तक की सांस लेने में भी कठिनाइयों का सामना करना पड़ सकता है।
- कुछ लोगों को इसके सेवन से शारीरिक थकान और उल्टी की समस्या भी हो सकती है।
सवाल जवाब (FAQs)
- शतावरी पाउडर का सेवन किस चीज के साथ करना चाहिए ?
दूध के साथ शतावरी पाउडर का सेवन करना फायदेमंद माना जाता है।
- स्तनपान कराने वाली महिलाओं के लिए शतावरी पाउडर का सेवन कैसे लाभदायक है ?
शतावरी पाउडर का सेवन करने से स्तनपान कराने वाली महिलाओं को दूध की कमी की शिकायत नहीं होती है।
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