Description
अगर आप पान खाने के शौक़ीन हैं तो आपको कत्था के बारे में जरूर मालूम होगा। भारत के कुछ राज्यों को छोड़कर लगभग हर राज्य में पान का सेवन किया जाता है। बिहार, बंगाल और उत्तर प्रदेश में हर शुभ कार्य में या फिर खाना खाने के बाद लोग पान का सेवन जरूर करते हैं। इसी पान को बनाने में कत्थे का इस्तेमाल किया जाता है। कत्था का इस्तेमाल पान में केवल उत्तर भारत में ही नहीं बल्कि तमिलनाडु और कर्णाटक जैसे दक्षिण भारतीय राज्यों में भी इसका सेवन किया जाता है। केटेचु या खैर के पेड़ की लकड़ियों से कत्था का निर्माण किया जाता है।
कत्था से होने वाले फायदे (Benefits)
- सूजन को कम करने के लिए कत्था : शरीर में सूजन या इंफ्लमैशन की समस्या होने पर कत्था का सेवन करना ख़ासा लाभदायक माना जाता है। एक शोध में ऐसा पाया गया है कि, इसमें कुछ ऐसे ख़ास तत्व पाए जाते हैं जो शरीर से सूजन को खत्म करने में प्रभावी रूप से काम करते हैं। बहरहाल कत्था का सेवन करने से काफी हद तक सूजन की समस्या से बचा जा सकता है।
- त्वचा संक्रमण के लिए कत्था : ऐसा माना जाता है कि, कत्था में एंटीफंगल गुण पाया जाता है । इन गुणों की वजह से ही कत्था को विभिन्न प्रकार के त्वचा संक्रमण से बचाव के लिए मददगार माना जाता है। यह त्वचा पर नजर आने वाले पिगमेंटेशन को दूर करने में भी लाभकारी है। इसके साथ ही इसकी मदद से स्किन एलर्जी से भी निजात पाया जा सकता है।
- दांतों के लिए कत्था : दांतों से जुड़ी विभिन्न समस्याओं के निदान के लिए भी कत्था का उपयोग किया जाता है। इसके सेवन से मुँह को साफ़ रखने में भी मदद मिलती है। पायरिया से ग्रसित लोगों के लिए भी कत्था का सेवन काफी उपयोगी है। यह मुँह से आने वाली बदबू को रोकने का काम करता है।
- पेट की समस्याओं के लिए कत्था : पेट से जुड़ी विभिन्न प्रकार की समस्याओं के लिए भी कत्था का उपयोग बेहद फायदेमंद है। इसके सेवन से दस्त और डायरिया की समस्या से निजात पाया जा सकता है। इसके साथ ही कब्ज की समस्या को दूर करने में भी इसका उपयोग लाभकारी है।
कत्था की ख़ुराक (Dosage)
- इसकी कोई नियत मात्रा नहीं है लेकिन यदि आप किसी समस्या से ग्रसित हैं तो इसका उपयोग किसी हर्बलिस्ट की सलाह के बाद ही करें।
कत्था से सावधानी (Precautions)
गर्भावस्था
गर्भवती महिलाओं के लिए कत्था का सेवन सुरक्षित नहीं है।
स्तनपान
स्तनपान करवाने वाली महिलाओं को इसका सेवन डॉक्टरी परामर्श के बिना नहीं करना चाहिए।
हार्ट
हार्ट के मरीजों के लिए कत्था का सेवन सुरक्षित है।
लिवर
लिवर की बीमारी से ग्रसित लोगों को इसका सेवन डॉक्टरी परामर्श के बाद ही करनी चाहिए।
किडनी
किडनी की बीमारी से ग्रसित व्यक्ति इसका सेवन डॉक्टरी सलाह के बाद ही करें।
कत्था के नुकसान (Side Effects)
- अधिक मात्रा में कत्था का सेवन करने से यह पेट में पथरी का कारण बन सकता है।
- किसी गंभीर बीमारी से ग्रसित लोगों के लिए कत्था का सेवन नुकसानदेह हो सकता है।
- सर्जरी से पहले या कुछ दिनों बाद तक इसका सेवन करने से नुकसान हो सकता है।
सवाल जवाब (FAQs)
- क्या कत्थे के सेवन से डायबिटीज या ब्लड प्रेशर की समस्या का निदान हो सकता है ?
कत्था के सेवन से किसी भी ऐसे बीमारी के समाधान का कोई प्रमाण फिलहाल उपलब्ध नहीं है।
- क्या बच्चों को कत्था की ख़ुराक दी जानी चाहिए ?
बच्चों के लिए कत्था का सेवन नुकसानदेह हो सकता है।
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